रायपुर : PM Awas Yojana chhattisgarh: छत्तीसगढ़ में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में राज्य सरकार द्वारा पीएम आवास योजना के कार्य में काफी तेजी आयी है। लाभार्थियों में तेजी से इस योजना का लाभ मिल रहा है। हाल ही में अब राज्य में प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) 2.0 के लिए सर्वे शुरू हो गया है। सरकार ने राज्य में हर बेघर नागरिक को आवास देने के संकल्प के साथ काम शुरू किया है। वहीं अब इस योजना में सरेंडर करने वाले नक्सलियों और नक्सल पीड़ित परिवारों के लिए भी पीएम आवास योजना का लाभ दिलाने के लिए केंद्र से मंजूरी मिल गई है।
छत्तीसगढ़ सरकार ने आत्मसमर्पित नक्सलियों और नक्सल पीड़ित परिवारों के पुनर्वास के लिए एक ऐतिहासिक कदम उठाया है। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की पहल पर केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के अंतर्गत 15,000 आवासों की स्वीकृति प्रदान की है। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा कि नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में रहने वाले आत्मसमर्पित नक्सलियों और पीड़ित परिवारों को मुख्यधारा में जोड़ने के लिए यह पहल एक बड़ा कदम है। प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत 15,000 आवास केवल मकान नहीं बल्कि उन परिवारों के लिए सम्मान और सुरक्षा का प्रतीक हैं। हमारी सरकार इस योजना को पूरी पारदर्शिता और तत्परता के साथ लागू करेगी।
उन्होंने कहा कि यह योजना प्रदेश के विकास और शांति स्थापना की दिशा में एक क्रांतिकारी कदम है। उन्होंने कहा कि नक्सल पीड़ित परिवारों और आत्मसमर्पित नक्सलियों को बेहतर जीवन देने के लिए हमारी सरकार संकल्पबद्ध है। पीड़ित परिवारों को आवास मिल जाने से नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में रहने वाले परिवारों को एक सुरक्षित और सम्मानजनक जीवन प्रदान करने की दिशा में मील का पत्थर साबित होगी। यह योजना सामाजिक समरसता और विकास के लक्ष्यों को प्राप्त करने में सहायक होगी।
प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) 2.0 के लिए वर्तमान में जारी सर्वेक्षण के दौरान ऐसे पात्र नागरिकों जिनके पास आवश्यक दस्तावेज नहीं है, उनके आवेदन तत्काल निरस्त नहीं करते हुए उन्हें दस्तावेजों के लिए समय प्रदान करने के निर्देश दिए गए हैं। नगरीय निकायों को हितग्राहियों के जाति प्रमाण पत्र एवं आय प्रमाण पत्र जैसे अनिवार्य दस्तावेजों के लिए संबंधित राजस्व कार्यालय से व्यक्तिगत समन्वय स्थापित करने के भी निर्देश राज्य शासन ने दिए हैं।
नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग के सचिव डॉ. बसवराजु एस. ने प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) 2.0 के हितग्राहियों के राजस्व कार्यालयों में लंबित जाति प्रमाण पत्र एवं आय प्रमाण पत्र के प्रकरणों को प्राथमिकता से निराकृत करने के लिए राजस्व विभाग को पत्र प्रेषित किया है।
केन्द्रीय आवासन और शहरी कार्य मंत्रालय द्वारा शहरी क्षेत्रों में ‘सबके लिए आवास’ मिशन के तहत प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी 2.0 (पीएमएवाई-यू 2.0) का क्रियान्वयन 1 सितम्बर 2024 से किया जा रहा है। छत्तीसगढ़ में योजना को सभी नगरीय निकायों में लागू करते हुए भारत सरकार के यूनिफाइड वेब पोर्टल पर हितग्राही सर्वेक्षण कार्य (रैपिड असेसमेंट सर्वे) 15 नवम्बर से प्रारंभ कर दिया गया है। सर्वेक्षण के दौरान हितग्राहियों की जानकारी भारत सरकार के पोर्टल पर दर्ज की जा रही है। इसके लिए हितग्राही परिवार का आधार कार्ड, बैंक खाता, आय प्रमाण पत्र, जाति प्रमाण पत्र, भूमि के दस्तावेज इत्यादि की प्रविष्टि भारत सरकार द्वारा अनिवार्य की गई है।
राज्य शासन ने विभागीय अधिकारियों और कर्मचारियों को प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) 2.0 का लाभ हर हाल में अधिक से अधिक जरूरतमंदों तक पहुंचाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार प्रत्येक पात्र हितग्राही परिवार को आवास दिलाने के लिए प्रतिबद्ध है। राज्य सरकार अंतिम छोर पर खड़े हर व्यक्ति तक योजना का लाभ पहुँचाना सुनिश्चित करेगी। उन्होंने सभी नगरीय निकायों को राजस्व विभाग के साथ समन्वय स्थापित कर पात्र हितग्राही परिवारों को योजना में शामिल करने आवश्यक दस्तावेज उपलब्ध कराने हरसंभव प्रयास करने को कहा है।
प्रधानमंत्री आवास योजना की प्रगति के बारे में जानकारी देते हुए उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा ने कहा, भाजपा सरकार बनने के बाद से राज्य में हर महीने करीब 25,000 नए मकान बनाए जा रहे हैं। पिछले 8 महीनों में अब तक करीब 1.96 लाख मकान बनाए जा चुके हैं। इसके अलावा प्रधानमंत्री जनमन योजना के तहत भी 24,000 मकान बनाए जा रहे हैं। सितंबर महीने की शुरुआत में केंद्र ने राज्य में पीएमएवाई के तहत 8,46,931 मकानों को मंजूरी दी है, जबकि मुख्यमंत्री आवास योजना के तहत 47,000 मकान बनाए जा रहे हैं।
इसके पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 17 सितंबर मंगलवार को प्रधानमंत्री आवास योजना- ग्रामीण (पीएमएवाई-जी) के तहत घरों के निर्माण के लिए पहली किस्त जारी की थी। पीएम मोदी रायपुर के इनडोर स्टेडियम में आयोजित ‘मोर आवास मोर अधिकार’ कार्यक्रम में भुवनेश्वर से वर्चुअली शामिल हुए थे। इस दौरान उन्होंने छत्तीसगढ़ के 5.11 लाख लाभार्थियों के खाते में सीधे 2,044 करोड़ रुपये की राशि ट्रांसफर की थी।
इस दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने राज्य में पीएमएवाई-जी के तहत 5.11 लाख लाभार्थियों के बैंक खातों में सीधे 2,044 करोड़ रुपये की पहली किस्त हस्तांतरित की। ताकि वे अपना घर बना सकें। इस अवसर पर प्रधानमंत्री मोदी ने जोर देकर कहा कि, “समाज के गरीब और कमजोर वर्गों के जीवन में समृद्धि लाना हमारी सरकार का लक्ष्य है। पिछले 10 वर्षों में हमारी सरकार ने इस लक्ष्य को प्राप्त करने में जबरदस्त सफलता हासिल की है।”
‘मोर आवास मोर अधिकार’ कार्यक्रम में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय भी मौजूद थे। अपने संबोधन में सीएम साय ने कहा कि, “आज छत्तीसगढ़ के लोगों के लिए दोहरी खुशी का दिन है। क्योंकि आज पीएम का जन्मदिन है और लाखों लोगों के लिए घर का सपना साकार होने जा रहा है। हम पीएम का दिल से आभार व्यक्त करते हैं। हमने समारोह में लाभार्थियों के पैर धोकर उनका स्वागत किया है।”
यशस्वी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज प्रदेश के 5.11 लाख हितग्राहियों के खाते में पीएम आवास की पहली किश्त के रूप में कुल 2044 करोड़ रुपये जारी किये और 1,66,832 हितग्राहियों को गृह प्रवेश कराया है। सीएम ने कहा कि “रोटी, कपड़ा और मकान’ आम आदमी की सबसे बुनियादी जरूरतें हैं। लेकिन आजादी के कई दशकों बाद भी देश के करोड़ों नागरिकों के पास अपना घर नहीं है। प्रधानमंत्री आवास योजना के जरिए बेघर परिवारों के लिए घर का सपना पूरा हो रहा है।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने कहा कि, “हिंदू पौराणिक कथाओं में विश्वकर्मा सृजन, वास्तुकला और शिल्प के देवता हैं। मोदी आधुनिक भारत के ‘विश्वकर्मा’ हैं। आज उनका जन्मदिन है। जिस दिन विश्वकर्मा जी का जन्म हुआ, उसी दिन मोदी का भी जन्म हुआ। मैं उन्हें अपनी शुभकामनाएं देता हूं और उनके अच्छे स्वास्थ्य की कामना करता हूं, ताकि वे 140 करोड़ भारतीयों की सेवा करते रहें।”
सीएम ने कहा कि “प्रधानमंत्री आवास योजना के क्रियान्वयन को लागू करने के लिए हमारी सरकार पूरी प्रतिबद्धता के साथ काम कर रही है। इसके क्रियान्वयन में किसी भी तरह की लापरवाही और अनियमितता बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
सीएम साय ने प्रधानमंत्री आवास योजना में अनियमितता को लेकर चेतावनी दी है। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत पूरे देश में 32 लाख मकान स्वीकृत किए गए हैं, जिनमें से करीब 30 फीसदी मकान छत्तीसगढ़ को आवंटित किए गए हैं, जो राज्य के लिए एक “बड़ी उपलब्धि” है। मुख्यमंत्री बनने के बाद कैबिनेट ने सबसे पहला काम राज्य में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत 18 लाख मकान स्वीकृत करने का किया। किसी भी तरह की अनियमितता की शिकायत सामने आने पर संबंधित जिला कलेक्टर के खिलाफ सीधे कार्रवाई की जाएगी।